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Chhattisgarh: जल, जंगल और प्राणियों को बचाने के लिए टाइगर रिजर्व के अधिकारी की अनोखी पहल, गांव-गांव में करते हैं वॉल पेंटिंग
- न्यूज़
- Thursday | 12th September, 2024
(टाइगर रिजर्व क्षेत्र में गांवों की दीवार पर वन भैंसों की पेंटिंग।
सौजन्य : ग्रामीण) सर्वे कार्य जांगड़ा, कुर्रूभाटा, पायलीखंड, बम्हनीझोला, उदंती, कोयबा, जुगाड़, अमाड, बड़गांव, बंजारीबाहरा, नागेश, करलाझर, देवझरमली, मोतीपानी और साहेबिन कछार आदि गांव में किया गया है।
इस वन क्षेत्र को 1974 में अभयारण्य और 2009 में टाइगर रिजर्व अधिसूचित किया गया।
इसके अंदर 100 से अधिक गांव है। एक वर्ष में 92 आरोपित पकड़े गए वन्यजीव अपराधों के विरुद्ध लड़ाई में चारवाहे (मुखबिर) की महत्वपूर्ण भूमिका है।
वे अवैध शिकार के लिए लगाए गए फंदे, शिकारियों के तीर, गुलेल मारने वॉले स्थान, अवैध कटाई और तालाबों में डाले गए डहर की जानकारी तत्काल वन विभाग को देते है।
चरवाहों को इनाम भी दिया जाता है।
इसलिए जून 2023 से जून 2024 तक 27 प्रकरण में 92 लोगों को पकड़ा है।
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